Interesting Facts About Wheat In Hindi - गेंहू के बारे में रोचक तथ्य

भारत में गेहूं की खेती बहुत प्राचीन है। सिंधु घाटी सभ्यता कालीन मोहनजोदड़ो के खंडहरों में 3000 वर्ष पूर्व गेहूं की खेती के प्रमाण मिले हैं । कुछ विद्वानों के मत में भारत की गेहूं का आदि स्थान है । यह भारतीयों का प्रिय भोजन है।


1. गेहूं ऊपोषण कटिबंधीय उपज है । संयुक्त राज्य अमेरिका रोज कनाडा व यूरोपीय देशों में गेहूं बसंत कालीन  उपज है।

2. भारत में यह शीतकालीन उपज है । विश्व के गेहूं उत्पादकों में भारत का स्थान पांचवा है।

3. या देश की समस्त बोई गई भूमि के लगभग 10% भाग पर उगाया जाता है।

4. भारत में गेहूं की खेती अभी प्राचीन परंपरागत ढंग से होती है।

5. मशीनों , खादो तथा आधुनिकतम वैज्ञानिक विधियों का प्रयोग बहुत ही सीमित है।

6. सिंचाई की समुचित व्यवस्था के बजाय आप भी भारतीय खेती मानसूनी वर्षा पर निर्भर करती है।

7. अतः गेहूं का दाना बड़ा नहीं हो पाता छोटा ही रह जाता है । बहुधा गेहूं में रतुआ रोग लग जाता है।

8. शीतकाल में तुषार , ओले वा झंझावात से भी उत्तरी भारत में गेहूं की फसल का नुकसान हो जाता है।

9. साधारणतया गेहूं को पकने में 3 से 6 महीने लगते हैं दक्षिण भारत में गेहूं शीघ्र पकता है।

10. सितंबर से अक्टूबर में बोकर यह फरवरी में काट लिया जाता है।

11. लेकिन उत्तरी भारत में गेहूं अक्टूबर से नवंबर में बोया जाता है व अप्रैल में काटा जाता है।

12. भारत में प्रांत प्रांत प्रधानता दो प्रकार का गेहूं उत्पन्न होता है – (common bread wheat) aur ( Marconi wheat )

13. कॉमन ब्रेड व्हीट का दाना चमकीला , सुडोल , मुलायम, सफेद होता है । इसे साधारणता रोटी का गेहूं कहते हैं। यह उत्तरी भारत में अधिक उत्पन्न होता है।

14. मारकोनी व्हीट लाल छोटे दाने वाला तथा कठोर होता है इसकी पैदावार वर्षा पर निर्भर होती है मध्य प्रदेश महाराष्ट्र आंध्र प्रदेश तथा तमिलनाडु राज्य में यादें पैदा होता है।

15. गेहूं अनेक प्रकार की जलवायु से उग सकता है । गेहूं के उगते समय ठंडी तथा नम जलवायु आवश्यक होती है।

16. गेहूं बोते समय तापमान 10 डिग्री सेल्सियस से 150 डिग्री सेल्सियस तथा तख्ते समय 200C से 250C  होना चाहिए।

17. गेहूं बोते समय साधारणता वर्षा लाभकारी होती है। इससे गेहूं का पौधा अंकुरित होकर बढ़ने लगता है । अधिक वर्षा पौधों को नष्ट कर देती है।

18. आद्रता का सीधा प्रभाव गेहूं के उत्पादन पर पड़ता है। शुष्क प्रदेशों में प्रति हेक्टेयर उपज कम हो जाती है।

19. फसल काटते समय मौसम शुष्क अवश्य होना चाहिए। गेहूं के लिए 50 से 75 सेमी औसत वार्षिक वर्षा उपयुक्त होती है।

20. भारी दोमट , बलुई दोमट तथा हल्की चिकनी मिट्टीया गेहूं के लिए अति उत्तम होती हैं । घास के मैदानों की गहरी भूमि मिट्टी भी उपयोगी होती है।

21. मिट्टी में सोरा और अमोनियम सल्फेट की खाद गेहूं के लिए लाभदायक होता है।

22. भूमि उत्तम जल निकास वाली तथा संतान होनी चाहिए ताकि उस पर कृषि यंत्रों का प्रयोग किया जा सके।

23. भारत में गेहूं के प्रमुख उत्पादक राज्य उत्तर प्रदेश , पंजाब , हरियाणा , मध्य प्रदेश , गुजरात , महाराष्ट्र व राजस्थान है।

24. उत्तर प्रदेश भारत का लगभग 36 % गेहूं उत्पन्न करता है । यहां गेहूं के नीचे भूमि भी सबसे अधिक है।

25. बाढ़ का प्रकोप होने पर गेहूं की खेती क्षतिग्रस्त होती है जिससे गेहूं की फसल नष्ट हो जाती है।

26. गेहूं का प्रमुख उत्पादक क्षेत्र गंगा , घागरा तथा गंगा यमुना दोआब है।

27. देहरादून , सहारनपुर , मुजफ्फरनगर , मेरठ , बुलंदशहर , मुरादाबाद , अलीगढ़ , आगरा , बदायूं आदि जिले गेहूं की उपज के लिए उल्लेखनीय हैं।

28. गंगा घाघरा दोआब से उत्तर की कुल पैदावार का 50% तथा गंगा यमुना दोआब से 25% उत्पन्न किया जाता है।

0

0 comments:

Post a Comment